जिंदगी बहुत छोटी है ...उसे खुशी से जी ले या उसे अपनी छोटी छोटी गलतियों से बर्बाद कर दे ...ये हम पर निर्भर है ...जब मन करता हम हँस सकते है तो क्या अपनी गलती पर ...उसे मान लेना ,उसमें कैसा अपमान ...कैसी शर्मिंदगी??? क्यों कि जीवन चलने का नाम है ...
एक वो चाँद ऊपर ,एक चाँद तुम मेरे हो
फिर ज़रा कुछ ओर करीब आ कर,यार देखो तो
नैन मिला कर ज़रा एक दफा फिर से देखो तो
पास बिठाकर ,यार एक दफा फिर देखो तो ||
दो या ना दो कोई दाद जीवन में तुम मुझे
पर एक बार फिर से साथ निभाकर,यार देखो तो
ये जान वार देंगे हम तुम्हारे लिए इस जीवन पे
तुम अपना प्यार फिर से लुटा कर ,यार देखो तो ||
दूर के चाँद को निहार रही हैं ये आँखे मेरी आज भी
तुम मुझे फिर अपना बना कर ,यार एक बार देखो तो
रो रही थी जो आँखे मेरी इंतज़ार में तुम्हारे
उन में अपना कोई सपना सजा कर, यार देखो तो ||
तेरे आने से हर बार होती है रोशन मेरे घर की दहलीज़
ओ मीत-मेरे साथ दीए फिर जला कर ,यार देखो तो
हम भी देख लेंगे इस बार तेरे तीरे-अंजाद
तुम अपना वो प्यार वाला तीर चला कर ,यार देखो तो ||
कितना मज़ा आया था घर बसाने में तेरे साथ
फिर से एक बार वही घर बसा कर ,यार देखो तो
रोज़ पिलाते थे ज़हर कड़वी बातों का तुम-हम
इस बार फिर से प्यार का प्याला पिला कर, यार देखो तो ||
कड़ी दर कड़ी टूट ना ये उम्मीद की ये लड़ी
एक बार फिर से इसे जोड़ कर ,यार देखो तो
अब जीवन भर साथ निभाएंगे हम तेरा
इस बार एक नया वादा ,यार करके देखो तो ||
अंजु (अनु)
एक वो चाँद ऊपर ,एक चाँद तुम मेरे हो
फिर ज़रा कुछ ओर करीब आ कर,यार देखो तो
नैन मिला कर ज़रा एक दफा फिर से देखो तो
पास बिठाकर ,यार एक दफा फिर देखो तो ||
दो या ना दो कोई दाद जीवन में तुम मुझे
पर एक बार फिर से साथ निभाकर,यार देखो तो
ये जान वार देंगे हम तुम्हारे लिए इस जीवन पे
तुम अपना प्यार फिर से लुटा कर ,यार देखो तो ||
दूर के चाँद को निहार रही हैं ये आँखे मेरी आज भी
तुम मुझे फिर अपना बना कर ,यार एक बार देखो तो
रो रही थी जो आँखे मेरी इंतज़ार में तुम्हारे
उन में अपना कोई सपना सजा कर, यार देखो तो ||
तेरे आने से हर बार होती है रोशन मेरे घर की दहलीज़
ओ मीत-मेरे साथ दीए फिर जला कर ,यार देखो तो
हम भी देख लेंगे इस बार तेरे तीरे-अंजाद
तुम अपना वो प्यार वाला तीर चला कर ,यार देखो तो ||
कितना मज़ा आया था घर बसाने में तेरे साथ
फिर से एक बार वही घर बसा कर ,यार देखो तो
रोज़ पिलाते थे ज़हर कड़वी बातों का तुम-हम
इस बार फिर से प्यार का प्याला पिला कर, यार देखो तो ||
कड़ी दर कड़ी टूट ना ये उम्मीद की ये लड़ी
एक बार फिर से इसे जोड़ कर ,यार देखो तो
अब जीवन भर साथ निभाएंगे हम तेरा
इस बार एक नया वादा ,यार करके देखो तो ||
अंजु (अनु)
40 comments:
वाह बहुत सुन्दर ख्याल
अति सुन्दर रचना..
एक वादा - इस बार तहेदिल से, फिर ज़िन्दगी उतनी ही खूबसूरत होगी,जैसा चाहा था ....
आपने सही कहा रश्मि दीदी
...प्रेम-रस से सराबोर सुन्दर रचना!
बड़ी हसीन और सुहानी पेशकश.....
शुभकामनाएँ आप दोनों को :-))
इस बार एक नया वादा ... नया इरादा ... भी
बहुत ही अच्छा लिखा है आपने ... बहुत-बहुत बधाई
waah bahut sundar waada hai .behtreen rachna
mera man chand chand ho utha:)
bole to chamak utha, padh kar:)
बढ़िया!
सुन्दर रचना
गलतियों से ही इंसान सीखता है फिर उसे मान लेने में कैसा अभिमान..
अंजुजी, आपकी कुछ रचनाएँ मेने पढ़ी , बहुत ही अच्च्ची लगी ,इनमे जीवन की सच्चाई बयां की गयी है , हमारे रोज के जीवन में मिलना , बिछुड़ना, प्यार, बिछोह, लगाव, खवाब इन सब बातो में ओत प्रोत रचनाएँ हैं आपकी , सही में मुझे तो बहुत बहुत पसंद आयीं और भावुक हुवे बिना न रह सका,,
प्रताप आसर
तेरे आने से हर बार होती है रोशन मेरे घर की दहलीज़
ओ मीत-मेरे साथ दीए फिर जला कर ,यार देखो तो
बहुत ही अच्च्ची लगी ,इनमे जीवन की सच्चाई बयां की गयी है ,
बहुत सुन्दर,प्यारी रचना..
:-)
देखेंगे...बिलकुल देखेंगे....
दोनों ही तो चाहते हैं एक नयी ताज़ा शुरुआत....
:-)
अनु
फिर एक बार आजमा के तो देखो.
एक बार फिर नया वादा करके देखो तो वाह !!! बहुतसुन्दर भावाभिव्यक्ति
बहुत ही सही और सुंदर कविता खुद से तो कम से कम हर इंसान को सच बोलना ही चाहिए तभी गलती स्वीकारी जा सकती है वो भी बिना किसी शर्म या झिझक के क्यूंकी ज़िंदगी की राहों में भी जब आँख खुले तभी सवेरा होता है और इसे ऐसे ही समझना चाहिए और एक हर पल एक नयी शुरुआत के लिए एक नए आरंभ के लिए तैयार रहना चाहिए।
वाह ,,,, बहुत खूबशूरत ख्याल,,,
कितना मज़ा आया था घर बसाने में तेरे साथ
फिर से एक बार वही घर बसा कर ,यार देखो तो ,,,,,,
RECENT POST LINK...: खता,,,
मन की मार्मिक मन-भावन भावनाओं का
चित्रण किया है। कविता अपने उद्देश्य मे
सफल रही है।
आनन्द विश्वास।
बिलकुल सही बात...ज़िन्दगी चलने का नाम है...हर कोई प्यार को आजमाना चाहता है...पर इसे आजमाना चाहिए नहीं...नहीं तो दिल को ठेस लग सकती है...
दुश्मनों से प्यार होता जायेगा
दोस्तों को आजमाते जाइये...
सटीक और सुंदर अभिव्यक्ति ..
एक नया वादा और जीवन भर का साथ बस और क्या चाहिए... बहुत सुन्दर प्रस्तुति... शुभकामनाएं
सुन्दर अभिव्यक्ति है अनु जी
कितना मज़ा आया था घर बसाने में तेरे साथ
फिर से एक बार वही घर बसा कर ,यार देखो तो
मधुर मनुहार...
कितनी अपेक्षाएँ शब्दों में मानो अपना आकार पा गई हैं। बहुत अच्छी रचना। बधाई।
बहुत खूब ..... प्यारा अंदाज़ है रिश्तों को फिर से नया रूप देने का ...
kya baat kahi hae...achi gujarish hae
nazrein milaane ka dil kartaa hai!!
बेहतरीन उम्दा रचना सुन्दर ख्याल बधाई
बहुत सच कहा है..लाज़वाब सार्थक प्रस्तुति..
बहुत ही खुबसूरत और प्यारी रचना..... भावो का सुन्दर समायोजन......
तेरे आने से हर बार होती है रोशन मेरे घर की दहलीज़...
इस बार एक नया वादा ,यार करके देखो तो!
सुंदर भावनाओं से रची सुंदर रचना!बधाई!!
सारिका मुकेश
http://sarikamukesh.blogspot.com/
बहुत ही खुबसूरत.....ऊपर लिखी बातों से पूर्णतया सहमत।
बहुत सुंदर ! प्यार में दूर जाना पास आने की शर्त है...
बहुत सुन्दर ...............
APNATV KEE MARMIK BHAVNA SE POORN KAVITA KE LIYE
AAPKO BADHAAEE AUR SHUBH KAMNA .
APNATV KEE MARMIK BHAVNA SE POORN KAVITA KE LIYE
AAPKO BADHAAEE AUR SHUBH KAMNA .
कविता से पहले लिखा सन्देश बहुत जरूरी है दूर तक पहुंचा... कविता इस भाव को मुकम्मल कर रही है- अपनों को एक मौका तो फिर से देना ही चाहिए.
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